अज़-ज़ुख़रुफ़
وَإِنَّهُ لَعِلْمٌ لِلسَّاعَةِ فَلَا تَمْتَرُنَّ بِهَا وَاتَّبِعُونِ ۚ هَـٰذَا صِرَاطٌ مُسْتَقِيمٌ61
निश्चय ही वह उस घड़ी (जिसका वादा किया गया है) के ज्ञान का साधन है। अतः तुम उसके बारे में संदेह न करो और मेरा अनुसरण करो। यही सीधा मार्ग है
وَلَا يَصُدَّنَّكُمُ الشَّيْطَانُ ۖ إِنَّهُ لَكُمْ عَدُوٌّ مُبِينٌ62
और शैतान तुम्हें रोक न दे, निश्चय ही वह तुम्हारा खुला शत्रु है
وَلَمَّا جَاءَ عِيسَىٰ بِالْبَيِّنَاتِ قَالَ قَدْ جِئْتُكُمْ بِالْحِكْمَةِ وَلِأُبَيِّنَ لَكُمْ بَعْضَ الَّذِي تَخْتَلِفُونَ فِيهِ ۖ فَاتَّقُوا اللَّهَ وَأَطِيعُونِ63
जब ईसा स्पष्ट प्रमाणों के साथ आया तो उसने कहा, "मैं तुम्हारे पास तत्वदर्शिता लेकर आया हूँ (ताकि उसकी शिक्षा तुम्हें दूँ) और ताकि कुछ ऐसी बातें तुमपर खोल दूँ, जिनमं तुम मतभेद करते हो। अतः अल्लाह का डर रखो और मेरी बात मानो
إِنَّ اللَّهَ هُوَ رَبِّي وَرَبُّكُمْ فَاعْبُدُوهُ ۚ هَـٰذَا صِرَاطٌ مُسْتَقِيمٌ64
वास्तव में अल्लाह ही मेरा भी रब है और तुम्हारा भी रब है, तो उसी की बन्दगी करो। यही सीधा मार्ग है।"
فَاخْتَلَفَ الْأَحْزَابُ مِنْ بَيْنِهِمْ ۖ فَوَيْلٌ لِلَّذِينَ ظَلَمُوا مِنْ عَذَابِ يَوْمٍ أَلِيمٍ65
किन्तु उनमें के कितने ही गिरोहों ने आपस में विभेद किया। अतः तबाही है एक दुखद दिन की यातना से, उन लोगों के लिए जिन्होंने ज़ुल्म किया
هَلْ يَنْظُرُونَ إِلَّا السَّاعَةَ أَنْ تَأْتِيَهُمْ بَغْتَةً وَهُمْ لَا يَشْعُرُونَ66
क्या वे बस उस (क़ियामत की) घड़ी की प्रतीक्षा कर रहे है कि वह सहसा उनपर आ पड़े और उन्हें ख़बर भी न हो
الْأَخِلَّاءُ يَوْمَئِذٍ بَعْضُهُمْ لِبَعْضٍ عَدُوٌّ إِلَّا الْمُتَّقِينَ67
उस दिन सभी मित्र परस्पर एक-दूसरे के शत्रु होंगे सिवाय डर रखनेवालों के। -
يَا عِبَادِ لَا خَوْفٌ عَلَيْكُمُ الْيَوْمَ وَلَا أَنْتُمْ تَحْزَنُونَ68
"ऐ मेरे बन्दों! आज न तुम्हें कोई भय है और न तुम शोकाकुल होगे।" -
الَّذِينَ آمَنُوا بِآيَاتِنَا وَكَانُوا مُسْلِمِينَ69
वह जो हमारी आयतों पर ईमान लाए और आज्ञाकारी रहे;
ادْخُلُوا الْجَنَّةَ أَنْتُمْ وَأَزْوَاجُكُمْ تُحْبَرُونَ70
"प्रवेश करो जन्नत में, तुम भी और तुम्हारे जोड़े भी, हर्षित होकर!"
يُطَافُ عَلَيْهِمْ بِصِحَافٍ مِنْ ذَهَبٍ وَأَكْوَابٍ ۖ وَفِيهَا مَا تَشْتَهِيهِ الْأَنْفُسُ وَتَلَذُّ الْأَعْيُنُ ۖ وَأَنْتُمْ فِيهَا خَالِدُونَ71
उनके आगे सोने की तशतरियाँ और प्याले गर्दिश करेंगे और वहाँ वह सब कुछ होगा, जो दिलों को भाए और आँखे जिससे लज़्ज़त पाएँ। "और तुम उसमें सदैव रहोगे
وَتِلْكَ الْجَنَّةُ الَّتِي أُورِثْتُمُوهَا بِمَا كُنْتُمْ تَعْمَلُونَ72
यह वह जन्नत है जिसके तुम वारिस उसके बदले में हुए जो कर्म तुम करते रहे।
لَكُمْ فِيهَا فَاكِهَةٌ كَثِيرَةٌ مِنْهَا تَأْكُلُونَ73
तुम्हारे लिए वहाँ बहुत-से स्वादिष्ट फल है जिन्हें तुम खाओगे।"